याचिकाकर्ता ने कहा- नदी में गंदा पानी इकट्ठा कर रहा है प्रशासन, हाईकोर्ट ने जवाब के लिए एक सप्ताह समय दिया
अरपा नदी में गंदा पानी रोकने के लिए नगर निगम बुधवार को भी कोई कार्ययोजना प्रस्तुत नहीं कर सका। डिवीजन बेंच ने इसके लिए एक सप्ताह का समय देते हुए 19 नवंबर को अगली सुनवाई निर्धारित की है।
अरपा के पुनर्जीवन के लिए वकील अरविंद शुक्ला और पेंड्रा निवासी रामनिवास तिवारी की जनहित याचिका पर बुधवार को सुनवाई हुई। याचिकाकर्ताओं की ओर से नदी में शहर का गन्दा पानी गिरने और स्टॉप डेम में रुके हुए पानी के सड़ने और जलकुंभी के कारण भूमिगत जलस्रोत प्रदूषित होने की आशंका जताई गई।
उन्होंने कहा कि निगम प्रशासन नदी में शहर और आसपास का गंदा पानी इकट्ठा कर रहा है। पिछली सुनवाई में कोर्ट ने इस पर कहा था कि गंदे पानी को बिना ट्रीटमेंट के नदी में जाने दिया जा रहा है , इसे आप किस तरह रोकेंगे? जब तक ट्रीटमेंट की व्यवस्था नहीं होती आप स्टॉप डेम ही खोल दीजिये, जिससे पानी निरंतर प्रवाहित होता रहे।
जनहित याचिका पर 6 नवंबर को हुई सुनवाई के दौरान नगर निगम यह स्पष्ट नहीं कर सका था कि, गंदे पानी को नदी में बिना ट्रीटमेंट जाने से कैसे रोका जाएगा? इस पर कोर्ट ने बिलासपुर नगर निगम से एक नये शपथपत्र पर विस्तृत कार्ययोजना की जानकारी मांगी है।
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