नगरीय और पंचायत चुनाव की तैयारियों को लेकर आयोजित कांग्रेस बैठक के बाद माहौल गर्म हो गया। बुधवार को पीसीसी अध्यक्ष दीपक बैज की बैठक के बाद कांग्रेस भवन में पूर्व मेयर राजेश पांडे और बिलासपुर लोकसभा प्रभारी सुबोध हरितवाल के बीच तीखी बहस हो गई।
क्या हुआ बैठक के बाद?
बैठक खत्म होने के बाद जब पीसीसी अध्यक्ष दीपक बैज वहां से रवाना हुए, तो बाहर निकलते वक्त सुबोध हरितवाल ने कुछ कहा, जिस पर पूर्व मेयर राजेश पांडे नाराज हो गए। उन्होंने जोर-जोर से बोलते हुए बैठक में अपनी बात न रखने दिए जाने पर नाराजगी जाहिर की।
राजेश पांडे ने कहा, “कार्यकर्ताओं और नेताओं की बात सुनना पार्टी के लिए जरूरी है।” इस दौरान अन्य वरिष्ठ नेता अर्जुन तिवारी और राकेश शर्मा ने भी सुबोध हरितवाल के व्यवहार पर आपत्ति जताई।
कैसे बढ़ा विवाद?
सुबोध हरितवाल ने राजेश पांडे की नाराजगी पर पलटकर कहा, “पार्टी कैसे चलानी है, यह हमसे सीखने की जरूरत नहीं।” इस जवाब ने माहौल और गरमा दिया। राजेश पांडे और अन्य नेताओं ने इसे वरिष्ठ नेताओं और कार्यकर्ताओं के प्रति अनुचित व्यवहार बताया। बहस के दौरान कुछ अपशब्दों का भी इस्तेमाल हुआ, जिससे माहौल और बिगड़ गया।
नेताओं ने संभाला मामला
विवाद बढ़ने पर अन्य नेताओं ने बीच-बचाव किया और स्थिति को संभालने का प्रयास किया। बाद में दोनों पक्षों ने कहा कि यह एक सामान्य बहस थी, और मुद्दे को सुलझा लिया गया।
नेताओं के बयान
- “मीटिंग के बाद थोड़ी बहस हुई, लेकिन यह सामान्य चर्चा थी। सभी सम्मानित नेता हैं और उन्होंने आपसी बातचीत से मामला सुलझा लिया।”
– विजय केशवानी, जिलाध्यक्ष कांग्रेस - “थोड़ी नोकझोंक जरूर हुई, लेकिन सबने अपनी बात रखी। अब सभी एकजुट होकर निकाय चुनाव की तैयारी में जुटेंगे।”
– विजय पांडे, शहर कांग्रेस अध्यक्ष
निष्कर्ष
कांग्रेस नेताओं के बीच यह बहस भले ही तीखी रही हो, लेकिन इसे चुनावी तैयारियों से जुड़ा सामान्य मतभेद करार दिया गया है। पार्टी नेताओं ने इसे सुलझा लिया है और निकाय चुनाव में मिलकर काम करने का संदेश दिया है।
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