सुमंगल अपार्टमेंट फेस-2 में चल रही श्रीमद्भागवत कथा का समापन भव्य रूप से किया गया। इस अवसर पर रुक्मिणी-कृष्ण विवाह और तुलसी विवाह का आयोजन हुआ, जिसमें श्रद्धालुओं ने बढ़-चढकऱ भाग लिया।
कृष्ण भगवान की बारात धूमधाम से निकाली गई, जिसमें गाजे-बाजे के साथ भक्तों ने नाचते-गाते हुए शामिल होकर उत्साहपूर्वक द्वारचार की रस्म पूरी की। कार्यक्रम में कृष्ण भगवान को स्टेज पर तुलसीजी के साथ विराजमान किया गया, जहां हल्दी की रस्में और मंगलाष्टक गाए गए।
इसके बाद पुष्प माला पहनाकर अग्नि के चारों ओर फेरे कर विधिवत विवाह संपन्न हुआ। सभी श्रद्धालुओं ने नाच-गाकर माहौल को मंगलमय बना दिया। समापन पर हवन, भंडारे और आरती का आयोजन हुआ, जिसमें सभी भक्तों ने भगवान को भेंट अर्पित की। व्यासपीठ पर विराजित श्री ऋ षभदेव कृष्णाचार्य जी वृंदावन से पधारे थे, जिन्होंने कथा रूपी गंगा प्रवाहित कर भक्तों को आध्यात्मिकता से ओत-प्रोत किया। इस पावन कथा के यजमान शिवा भदौरिया थे।
कार्यक्रम में सुमंगल परिसर के सदस्य उपमा, विदुषी, शारदा, सविता, किरण, मिथिलेश, सुनीता, मोनिका, विनोदा, और प्रीती सहित कई श्रद्धालुओं ने कथा का लाभ उठाया और भक्ति भाव से ओत-प्रोत हो गए।
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